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Friday, March 10, 2023
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पक्षीराज गरुड़ कैसे बने विष्णु के वाहन, जानें क्या कहते हैं धर्मग्रंथ

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गरुड़ पुराण, भगवान विष्णु नीति: हिंदू धर्म में कई देवी-देवताओं के वाहन होते हैं। जैसे मां शेरावाली का वाहन सिंह है, गणेश जी का मूषक, देवी सरस्वती का हंस, कार्तिकेय का मोर और भगवान शिव का नंदी ठीक उसी तरह भगवान विष्णु के वाहन गरुड़ हैं।

हिंदू धर्म में गरुड़ को सभी पक्षियों में सर्वश्रेष्ठ बताया गया है। गरुड़ पुराण ग्रंथों के बारे में तो आप जरूर जान लें। इसे 18 महापुराणों में एक माना जाता है। किस पाप-पुण्य के कर्मों के साथ ही मृत्यु और मृत्यु के बाद की घटनाओं के बारे में विस्तार से विस्तार से बताया गया है। गरुड़ पुराण ग्रंथ में कुछ बातों का उल्लेख मिलता है जो भगवान विष्णु अपने वाहन पक्षी गरुड़ से करते हैं। जानिए असली पक्षीराज गरुड़ कैसे बनते हैं भगवान विष्णु वाहन।

कौन हैं गरुड़

धर्म रीलों

धार्मिक ग्रंथों के अनुसार गरुड़ की मां का नाम विनीता था जोकि प्रजापति कश्यप की पत्नी थीं। गरुड़ एक विशाल, अतिबृष्ठ और अपने संकल्प को पूरा करने वाला पक्षी था, जिसे भगवान विष्णु से अमृत्व मिला था। कहा जाता है कि स्वर्ग में विश्व ने युद्ध करने के बाद जिस अमृत कलश को असुरों से प्राप्त किया था, गरुड़ ने उसे दुनिया से छीन लिया था। क्योंकि इससे वह अपनी मां को सांपों की कद्रू की दासना से मुक्ति पाना चाहते थे।

कद्रू ने यह प्रस्ताव रखा कि, यदि तुम मेरे पुत्रों के लिए अमृत ला दोगे तो तुम्हारी मां दासत्व से मुक्त हो जाएगी। इसके लिए गरुड़ स्वर्ग पहुंचे और दुनिया की सुरक्षा व्यवस्था को भंग करके अमृत लेकर उड़ गए। सभी वैश्विक लोगों ने अमृत कलश को बचाने का भरपूर प्रयास किया, लेकिन गरुड़ अपने स्वरूप से अमृत लेकर उड़ गए। उसी रास्ते में भगवान विष्णु ने गरुड़ को मुंह से अमृत कलश को ले जाते देखा। भगवान विष्णु ने देखा कि अमृत कलश पास हुए भी गरुड़ में उसे पीने का लालच नहीं है। वह स्वयं न अमृत पीकर लेकर कहीं जा रहा है।

इसलिए भगवान विष्णु ने पक्षीराज गरुड़ को वाहन बनाया

भगवान विष्णु यह देखकर काफी खुश हुए। उन्होंने गरुड़ को रोक लिया और इसके बारे में पूछा। गरुड़ ने बताई सारी बातें. भगवान विष्णु ने प्रसन्न होकर गरुड़ को वरदान दिया। इसके बाद गरुड़ ने भी भगवान विष्णु को कुछ आकर्षण को कहा, तब भगवान विष्णु ने गरुड़ को अपना वाहन बनने को कहा। इसके बाद से ही भगवान विष्णु के वाहन गरुड़ हैं।

फिर सभी वैश्विक ने अमृत वापस पाने की योजना बनाई। उन्होंने गरुड़ से कहा कि, अब नाग आपको और आपकी मां को मार्ग नहीं बता सकते हैं और आप उन्हें खास रमजान। इसके बाद गरुड़ ने दुनिया को वापस अमृत कलश लौटा दिया।

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