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Saturday, March 11, 2023
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शीपिंग की वफादारी ली, चीन के प्रधानमंत्री बने: उनकी जीरो पॉलिसी की पूरी दुनिया में आलोचना हुई, अब इकोनॉमी की जिम्मेवारी

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झाकुछ ही क्षण पहले

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तस्वीर प्रधानमंत्री बनने के बाद चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग से हाथ मिलाते हुए नए प्रधानमंत्री लींग की है।

चीन की रबर स्टैंप पार्लियामेंट ने शनिवार को राष्ट्रपति शी जिनपिंग के प्रति निष्ठा लींग को वहां का प्रीमियर यानी प्रधानमंत्री बनाया है। चीन के पॉलिटिकल सिस्टम में ये नंबर दो का पॉजिशन है। कियांग के समर्थन में नेशनल पीपल्स कांग्रेस के 2936 सदस्यों ने वोट दिया। जबकि 3 ने उनके खिलाफ वोटिंग की।

रिपोर्ट्स के मुताबिक चीन की जिस जीरो पॉलिसी पॉलिसी की वजह से पूरी दुनिया में उनकी आलोचना हुई और इंप्लीमेंट करने वाले थे। बिजनेस इंसाइडर के मुताबिक कोविड पॉलिसी बूरी तरह फेल होने के बाद भी कियांग को जो प्रीमियर का पॉजिशन मिला है उसकी वजह सिर्फ जिन शीपिंग से उनके करीबी संबंध हैं। कुछ समय पहले तक वो चीन के टॉप 7 लीडर्स में भी नहीं थे।

चीन के नए प्रीमियर द्वारा प्रधानमंत्री की शपथ लेते हुए लींग

चीन के नए प्रीमियर द्वारा प्रधानमंत्री की शपथ लेते हुए लींग

वोटिंग से पहले और बाद में कियांग और शी ने की बात
वोटिंग से पहले शीपिंग और लींग ने एक दूसरे से बातचीत की थी। चीन की संसद के ग्रेट हॉल में वोटिंग के बाद पूर्व प्रधानमंत्री ली केकियांग ने वर्कशॉप ली। अब यह दुनिया की दूसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था को फिर से पटरी पर लाने की जिम्मेवारी होगी। कियांग को चीन में बिजनेस फ्रेंडली माना जाता है।

कियांग सोमवार को एक प्रेस कांफ्रेंस करेगा, जिसमें वो कोरोना से डूबी चीन की अर्थव्यवस्था को पुनर्जीवित करने का प्लान है। साथ ही चीन की आबादी से जुड़ी हिस्सेदारी पर भी आपके विचार हैं।

इस तस्वीर में शी जिनपिंग (बाएं) ली केकियांग (बीच में) और नए प्रधानमंत्री लीएंग दिख रहे हैं।

इस तस्वीर में शी जिनपिंग (बाएं) ली केकियांग (बीच में) और नए प्रधानमंत्री लीएंग दिख रहे हैं।

चीन के नए प्रधानमंत्री को बुजुर्ग महिला ने डांटा था
जीरो कोविड पॉलिसी की वजह से लींग के लिए 2022 काफी खराब बीता था। उस दौरान ली ने शांघाई को कोविड मुक्त करने के लिए लोगों को घरों में कैद रहने पर मजबूर कर दिया। आम लोगों से लेकर अरबपति और सेलिब्रिटीज घरों में बंद कर दिए गए।

इस कैद को जायज ठहराते हुए उन्होंने कहा था कि देश को कोरोना से मुक्त करने के लिए ये जरूरी है। हालांकि इस स्ट्रैटेजी का नतीजा पूरी दुनिया ने तब देखा जब इसके खिलाफ लोग सड़कों पर उतरकर प्रदर्शन करने लगे। ये चीन में 1989 के तियानमन स्क्वेयर के बाद सबसे बड़ा प्रदर्शन था।

धीरे-धीरे रिकॉर्ड होते हुए लोग क्रोध से भर जाते हैं। सबसे पहले ये सोशल मीडिया पर दिखा जहां लोगों ने खाने की कमी होने की शुरुआत की। जिन्हें चीन का सेंसर सिस्टम भी नहीं रोक पाया। एक सार्वजनिक दिखावा के दौरान जब एक अस्पताल लींग जा रहे थे, तो वहां उनकी व्हील चेयर पर बैठी एक बुजुर्ग महिला ने रोका और कोरोना संकट को ठीक से न संभालते हुए डांट लगा रही थी।

शी के अनुमानों की सीढ़ियां चढ़ी ली-कियांग
लींग के राजनीतिक सफर की शुरुआत चीन की यूथ लीग सिस्टम से हुई थी। इसके बाद वो चीन के वेंजोऊ इलाके के नेता बने। इस बार शी जिनपिंग चीन के झेजियांग प्रांतों की पार्टी सचिव थे उन्हें इस इलाके में पार्टी संभालने के लिए एक अच्छे नेता की जरूरत थी। इसी दौरान उनकी मुलाकात हुई।

उसी समय जब शीपिंग नेशनल पार्टी के नेता बने तो उन्होंने 2012 में जेजियांग प्रांत के गवर्नर बना दिया। फिर 2016 में उन्हें जियांग्सु क्षेत्र का भी सेक्रेटरी बनाया गया और 2017 में उन्हें चीन के सबसे अहम शहरों में से एक शांघाई की पार्टी सेक्रेटरी बनाया गया।

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